प्रधानमंत्री से लेकर विधायक तक को न सिर्फ बेहतरीन सैलरी मिलती है बल्कि कई तरह के भत्ते भी दिए जाते हैं. नेताओं को मिलने वाली सुविधाएं भी इन्हें औरों से अलग करती हैं. आइए जानते हैं कि देश के नेताओं को सैलरी कितनी मिलती है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी: भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बैसिक सैलरी 1 लाख 60 हजार रुपये है. इसके साथ ही पीएम को अलग-अलग तरह के सरकारी भत्ते और अन्य सेवाएं दी जाती हैं.

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु : भारत के राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु को हर महीने 5 लाख रुपये सैलरी मिलती है. इस पद से रिटायर होने के बाद हर राष्ट्रपति को 1.5 लाख रुपये सैलरी के रूप में दिए जाते हैं.

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़: भारत के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ को राष्ट्रपति से एक लाख रुपये कम मिलते हैं. देश के उपराष्ट्रपति को 4 लाख रुपये सैलरी दी जाती है. सैलरी के अलावा उन्हें अन्य तरह के भत्ते भी दिए जाते हैं.

राज्यपाल: भारत के राज्यपाल को हर महीने सैलरी के रूप में 3.5 लाख रुपये दिए जाते हैं. राज्यपाल को 1 लाख 10 हजार रुपये महीना सैलरी के रूप में मिलता है और सभी तरह के भत्ते मिलाने के बाद उन्हें 3.5 लाख रुपये दिए जाते हैं.

मुख्यमंत्री: अलग-अलग राज्यों के मुख्यमंत्री की सैलरी भी अलग-अलग होती है. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को हर महीने 4 लाख रुपये सैलरी के रूप में मिलते हैं. सबसे ज्यादा सैलरी कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्दारमिया की है जो 4 लाख 21 हजार रुपये है.

विधायक: हर राज्य के विधायक की सैलरी अलग-अलग होती है. अनुच्छेद 164 के अनुसार हर राज्य में विधायक की सैलरी उसके राज्य विधायिकाओं द्वारा तय की जाती है. मध्यप्रदेश में विधायकों का वेतन 1.50 लाख रुपये है.

क्या है टैक्स का नियम: चाहे सांसद हो या प्रधानमंत्री या राष्ट्रपति या उपराष्ट्रपति, सभी को इनकम टैक्स देना पड़ता है. हालांकि, इन्हें सिर्फ सैलरी पर ही टैक्स देना होता है. मतलब, सांसदों की हर महीने की सैलरी एक लाख रुपये है. इस हिसाब से सालाना सैलरी 12 लाख रुपये हुई. इस पर ही उन्हें टैक्स देना होता है.