केंद्रीय कर्मचारी लंबे समय से सरकार से फिटमेंट फैक्टर बढ़ाने की मांग करते रहे हैं. ऐसे में सरकार चुनावी फायदे के लिए फिटमेंट फैक्टर बढ़ा सकती है. केंद्रीय कर्मचारियों ( Central Government Employees) को सरकार बड़ी राहत दे सकती है. केंद्रीय कर्मचारियों के यूनियनों की मांग पर सरकार फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) के फैसले पर फिर से विचार कर सकती है. कर्मचारी यूनियन सरकार से लगातार फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाने की मांग करते आए हैं. केंद्रीय कर्मचारी फिटमेंट फैक्टर को 2.57 गुना से बढ़ाकर 3.68 गुना करने की मांग करते रहे हैं. 

मौजूदा समय में फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) के आधार पर केंद्रीय कर्मचारियों की न्यूनतम सैलरी 18000 रुपये है. फिटमेंट फैक्टर अभी 2.57 गुना तय किया गया है. पर केंद्रीय कर्मचारियों इसे बढ़ाकर 3.68 गुना करने की मांग कर रहे हैं. अगर ऐसा हुआ तो केंद्रीय कर्मचारियों की न्यूनत्तम सैलेरी 26,000 रुपये होगी. फिटमेंट फैक्टर को बढ़ाकर 3 गुना किया जाता है तो कर्मचारियों की सैलरी में भारी इजाफा संभव है. किसी केंद्रीय कर्मचारी की बेसिक सैलरी 18,000 रुपए है, तो भत्तों को छोड़कर उसकी सैलरी 18,000 X 2.57= 46260 रुपये होती है. लेकिन कर्मचारियों की मांगों को मान लिया गया तो सैलेरी 26000 X 3.68= 95680 रुपये हो जाएगी. 

केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी तय करने में फिटमेंट फैक्टर की बड़ी भूमिका होती है. 7वें वेतन आयोग (7th Pay Commission) की सिफारिशों के मुताबिक, केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी भत्तों (Salary Allowances) के अलावा उसकी बेसिक सैलरी (Basic Salary) और फिटमेंट फैक्टर (Fitment factor) से ही तय होती है. ये वो फैक्टर है जिससे केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी ढाई गुना से ज्यादा बढ़ जाती है. फिलहाल 7th Pay Commission की सिफारिशों के तहत फिटमेंट फैक्टर 2.57 है.